कांवड़ मार्ग पर मांस मिलने से सनसनी, प्रशासन ने तुरंत उठाया सख्त कदम !

उत्तर प्रदेश में कांवड़ यात्रा का आयोजन धूम-धाम से जारी है। हालांकि, राज्य के फिरोजाबाद जिले में कांवड़ यात्रा मार्ग पर मांस के टुकड़े मिलने से सनसनी फैल गई है।

उत्तर प्रदेश के फिरोजाबाद जिले से कांवड़ यात्रा के दौरान एक बेहद संवेदनशील और तनावपूर्ण घटना सामने आई है। जिले के शिकोहाबाद थाना क्षेत्र में कांवड़ यात्रा मार्ग पर मांस के टुकड़े पड़े मिलने से स्थानीय लोगों में आक्रोश फैल गया और इलाके में सनसनी का माहौल बन गया। यह मार्ग शिवभक्तों के लिए विशेष रूप से तैयार किया गया था, जहां हर साल हजारों श्रद्धालु हरिद्वार से गंगाजल लाकर अपने गांव के शिवालयों में जलाभिषेक करते हैं।

घटना सोमवार सुबह उस समय सामने आई जब कुछ कांवड़ यात्री मार्ग से गुजर रहे थे। उन्होंने सड़क किनारे मांस के टुकड़े देखे और तुरंत स्थानीय लोगों को इसकी सूचना दी। कुछ ही देर में बड़ी संख्या में लोग इकट्ठा हो गए और प्रशासन के खिलाफ नारेबाजी शुरू हो गई। देखते ही देखते मामला गर्मा गया और धार्मिक संगठनों ने इसे आस्था पर हमला करार देते हुए विरोध दर्ज कराया।

कांवड़ मार्ग पर मांस मिलने से सनसनी, प्रशासन ने तुरंत उठाया सख्त कदम !
कांवड़ मार्ग पर मांस मिलने से सनसनी, प्रशासन ने तुरंत उठाया सख्त कदम !

घटना की जानकारी मिलते ही शिकोहाबाद पुलिस, स्थानीय प्रशासन और नगर पालिका की टीम मौके पर पहुंच गई। मांस के टुकड़ों को तुरंत वहां से हटवाया गया और क्षेत्र की सफाई कराई गई। इसके साथ ही फॉरेंसिक टीम को भी जांच के लिए बुलाया गया ताकि यह पता लगाया जा सके कि यह मांस किस प्रकार का था और इसे किस उद्देश्य से फेंका गया था।

पुलिस अधीक्षक (एसपी) फिरोजाबाद राजेश कुमार सिंह ने मीडिया से बातचीत में बताया, “यह घटना बेहद गंभीर है और हम इसे एक शरारती तत्वों की साजिश मानकर जांच कर रहे हैं। CCTV फुटेज खंगाले जा रहे हैं और स्थानीय लोगों से पूछताछ की जा रही है। इस कृत्य में शामिल किसी भी व्यक्ति को बख्शा नहीं जाएगा।”

इलाके में तनाव की आशंका को देखते हुए भारी पुलिस बल तैनात कर दिया गया है। पीएसी (प्रांतीय सशस्त्र बल) की कंपनियों को भी मौके पर तैनात किया गया है और आस-पास के सभी संवेदनशील इलाकों में चौकसी बढ़ा दी गई है। ड्रोन कैमरों के जरिए भी निगरानी की जा रही है ताकि किसी भी अप्रिय स्थिति से बचा जा सके।

जिलाधिकारी रवि रंजन ने इस पूरे मामले पर गंभीर रुख अपनाते हुए अधिकारियों को निर्देश दिया है कि वे प्रत्येक कांवड़ मार्ग पर कड़ी निगरानी रखें। उन्होंने कहा, “धार्मिक यात्राओं की गरिमा को कोई ठेस न पहुंचे, यह सुनिश्चित करना प्रशासन की जिम्मेदारी है। इस तरह की घटनाएं सांप्रदायिक सौहार्द बिगाड़ने की कोशिश हैं और प्रशासन सख्ती से निपटेगा।”

स्थानीय लोगों और व्यापारियों ने भी घटना पर नाराज़गी जाहिर की है। उनका कहना है कि कांवड़ यात्रा के दौरान पूरे माहौल में भक्ति और श्रद्धा का भाव होता है, ऐसे में इस तरह की घटनाएं लोगों की धार्मिक भावनाओं को ठेस पहुंचाने के लिए की जाती हैं।

घटना के बाद राजनीतिक हलचल भी तेज हो गई है। भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के नेताओं ने प्रशासन से दोषियों की तत्काल गिरफ्तारी की मांग की है, जबकि समाजवादी पार्टी और कांग्रेस नेताओं ने कांवड़ मार्गों पर सुरक्षा व्यवस्था को लेकर प्रशासनिक ढिलाई पर सवाल उठाए हैं।

फिलहाल प्रशासन लोगों से शांति बनाए रखने की अपील कर रहा है और जांच पूरी होने तक किसी भी तरह की अफवाहों से दूर रहने को कहा है। सोशल मीडिया पर भी इस संबंध में अफवाह फैलाने वालों पर नजर रखी जा रही है और साइबर सेल को अलर्ट कर दिया गया है।

इस घटना ने साफ कर दिया है कि धार्मिक आयोजनों के दौरान प्रशासन को विशेष सतर्कता बरतने की जरूरत है। कांवड़ यात्रा जैसे आयोजनों में आस्था, सुरक्षा और शांति का समन्वय बेहद आवश्यक है, और ऐसे मामलों में त्वरित कार्रवाई प्रशासन की प्राथमिकता होनी चाहिए।

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