योगी के बयान से सियासत गरमाई, इकरा हसन बोलीं – “पहले खुद आज़माइए”

बरेली हिंसा के बाद सीएम योगी के डेंटिंग पेंटिंग बयान पर समाजवादी पार्टी सांसद इकरा हसन ने करारा पलटवार दिया है. उन्होंने बीजेपी पर समाज में भेदभाव फैलाने का आरोप लगाया

उत्तर प्रदेश की सियासत एक बार फिर तीखी जुबानी जंग के दौर में है। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के हालिया ‘डेंटिंग-पेंटिंग’ बयान पर समाजवादी पार्टी (सपा) सांसद इकरा हसन ने करारा पलटवार किया है। उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री केवल भाषणों में सुधार की बातें करते हैं, लेकिन जमीनी हकीकत में जनता की समस्याएं जस की तस हैं। इकरा हसन ने सीधा चुनौती देते हुए कहा – “योगी जी, करके दिखाइए आप, केवल बातों से विकास नहीं होता।”

योगी के बयान से सियासत गरमाई, इकरा हसन बोलीं – “पहले खुद आज़माइए”
योगी के बयान से सियासत गरमाई, इकरा हसन बोलीं – “पहले खुद आज़माइए”

क्या था योगी आदित्यनाथ का बयान

क्या था योगी आदित्यनाथ का बयान
क्या था योगी आदित्यनाथ का बयान

दरअसल, मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कुछ दिन पहले एक कार्यक्रम में कहा था कि “उत्तर प्रदेश की छवि को हमने डेंटिंग-पेंटिंग कर सही किया है। पहले लोग यूपी का नाम लेते डरते थे, लेकिन अब प्रदेश की पहचान कानून, व्यवस्था और विकास से है।”
उनका इशारा राज्य में अपराध, भ्रष्टाचार और अराजकता के खिलाफ की गई सरकारी कार्रवाइयों की ओर था। उन्होंने कहा था कि अब उत्तर प्रदेश ‘दंगों वाला राज्य’ नहीं, बल्कि ‘निवेश और विकास का केंद्र’ बन गया है।

इकरा हसन का पलटवार

सपा सांसद इकरा हसन ने योगी के इसी बयान पर प्रतिक्रिया देते हुए कहा कि प्रदेश में डेंटिंग-पेंटिंग नहीं, बल्कि वास्तविक सुधार की जरूरत है। उन्होंने कहा, “मुख्यमंत्री जी, यूपी की सच्चाई जनता जानती है। बेरोजगारी चरम पर है, किसान परेशान हैं, महिलाएं असुरक्षित महसूस कर रही हैं। ऐसे में ‘डेंटिंग-पेंटिंग’ का दावा केवल दिखावे की राजनीति है।”

उन्होंने आगे कहा कि सरकार का फोकस सिर्फ इवेंट मैनेजमेंट और प्रचार पर है। “अगर वाकई यूपी में सुधार हुआ है तो युवाओं को रोजगार क्यों नहीं मिला? अपराधियों के खिलाफ कार्रवाई का ढोल पीटने से जनता का पेट नहीं भरता,” उन्होंने जोड़ा।

‘विकास की चमक नहीं, असमानता की दरारें दिख रही हैं’

इकरा हसन ने कहा कि भाजपा सरकार सिर्फ चमकदार तस्वीरें दिखा रही है, जबकि गांवों और छोटे कस्बों की हालत बदतर है। उन्होंने कहा, “सरकार की विकास योजनाएं पोस्टरों और मंचों तक सीमित हैं। जमीनी स्तर पर न शिक्षा सुधरी, न स्वास्थ्य व्यवस्था। गरीबों की सुनने वाला कोई नहीं।”
सपा सांसद ने मुख्यमंत्री के “छवि सुधार” वाले दावे को भी कटघरे में खड़ा करते हुए कहा कि “छवि नहीं, हालात सुधारिए।”

सपा ने दी मुख्यमंत्री को ‘रियलिटी चेक’ की सलाह

सपा नेताओं ने इकरा हसन के समर्थन में कहा कि योगी सरकार को अपनी “उपलब्धियों की फेहरिस्त” से बाहर निकलकर जनता के बीच जाना चाहिए। पार्टी प्रवक्ता ने कहा, “मुख्यमंत्री को एक दिन बिना सुरक्षा और मीडिया कवरेज के किसी सरकारी अस्पताल या रोजगार कार्यालय का दौरा करना चाहिए, तब उन्हें असली सच्चाई पता चलेगी।”
उन्होंने कहा कि भाजपा के दावे सिर्फ चुनावी भाषणों में अच्छे लगते हैं, लेकिन जमीन पर आंकड़े सरकार की पोल खोल देते हैं।

भाजपा का पलटवार

भाजपा नेताओं ने इकरा हसन के बयान को ‘राजनीतिक स्टंट’ बताया है। पार्टी प्रवक्ता शलभ मणि त्रिपाठी ने कहा, “योगी सरकार के कार्यकाल में यूपी ने जो प्रगति की है, वह ऐतिहासिक है। अपराध दर में कमी आई है, निवेश बढ़ा है और इंफ्रास्ट्रक्चर के क्षेत्र में राज्य ने बड़ी छलांग लगाई है।”
उन्होंने यह भी कहा कि विपक्ष के पास अब सरकार की उपलब्धियों को झुठलाने के अलावा कोई मुद्दा नहीं बचा। “इकरा हसन जैसी नई पीढ़ी की सांसदों को प्रदेश की प्रगति पर गर्व होना चाहिए, न कि निराधार आलोचना करनी चाहिए,” उन्होंने जोड़ा।

सोशल मीडिया पर बहस तेज

योगी बनाम इकरा की इस बयानबाज़ी ने सोशल मीडिया पर भी हलचल मचा दी है। ट्विटर (अब X) और इंस्टाग्राम पर दोनों के समर्थक एक-दूसरे पर टिप्पणी कर रहे हैं। कई लोगों ने इकरा हसन के साहस की सराहना की कि उन्होंने मुख्यमंत्री को सीधी चुनौती दी, वहीं भाजपा समर्थकों ने कहा कि विपक्ष केवल नकारात्मक राजनीति कर रहा है।

राजनीतिक मायने

राजनीतिक विश्लेषकों का मानना है कि इकरा हसन का यह तीखा बयान उनकी बढ़ती राजनीतिक सक्रियता का संकेत है। वह लगातार भाजपा सरकार की नीतियों पर खुलकर बोल रही हैं, जिससे सपा के युवा चेहरों में उनका कद बढ़ रहा है। दूसरी ओर, योगी सरकार इस तरह के हमलों को “विकास-विरोधी राजनीति” करार देकर अपने समर्थकों को एकजुट करने की कोशिश कर रही है।

निष्कर्ष

मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के “डेंटिंग-पेंटिंग” बयान पर इकरा हसन का पलटवार न केवल एक बयानबाज़ी है, बल्कि यह उत्तर प्रदेश की वर्तमान राजनीति का आईना भी है — जहां एक ओर सरकार विकास की तस्वीर पेश कर रही है, वहीं विपक्ष उसके रंग और परतों पर सवाल उठा रहा है।
अब यह देखना दिलचस्प होगा कि इस जुबानी जंग का असर आने वाले चुनावी समीकरणों पर कितना पड़ता है।

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