सीएम योगी ने मुरादाबाद में समाजवादी पार्टी पर निशाना साधते हुए कहा कि सपा ने अपनी सरकार में ‘ग’ से ‘गधा’ पढ़ाया, इसलिए उनकी बुद्धि भी गधे जैसी हो गई।
उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने एक बार फिर अपने आक्रामक अंदाज़ में विपक्ष, विशेषकर समाजवादी पार्टी (सपा) पर करारा हमला बोला। एक जनसभा को संबोधित करते हुए उन्होंने कहा कि “सपा ने बच्चों को ‘ग’ से ‘गधा’ पढ़ाया, इसलिए अब उनकी सोच भी गधे जैसी हो गई है।”

सीएम योगी की यह टिप्पणी आते ही प्रदेश की राजनीति में हलचल मच गई है। सपा ने इसे ‘अभद्र भाषा’ बताया तो बीजेपी कार्यकर्ताओं ने इसे विपक्ष की ‘कड़वी सच्चाई’ करार दिया।
कहां और कब दिया गया बयान?
यह बयान मुख्यमंत्री योगी ने बलरामपुर जिले के उतरौला में एक विकास परियोजना के लोकार्पण कार्यक्रम के दौरान दिया। इस दौरान उन्होंने न केवल विपक्ष पर जमकर निशाना साधा बल्कि अपनी सरकार की उपलब्धियों को भी गिनाया।
सीएम योगी ने कहा:
“कभी समाजवादी पार्टी की सरकार ने शिक्षा को मजाक बना दिया था। बच्चों को ‘ग’ से ‘गधा’ और ‘भ’ से ‘भौंकना’ पढ़ाया जाता था। ऐसी सोच वालों की बुद्धि भी वैसी ही हो जाती है।”
उन्होंने यह भी कहा कि आज यूपी में शिक्षा का स्तर सुधर रहा है, स्कूलों में स्मार्ट क्लासेस लग रही हैं, और बच्चों को गुणवत्तापूर्ण पाठ्य सामग्री दी जा रही है।
शिक्षा प्रणाली पर हमला या तंज?
सीएम योगी का यह बयान उस समय आया है जब राज्य में नवीन पाठ्यक्रम और NCF (नेशनल करिकुलम फ्रेमवर्क) को लेकर बहस चल रही है। योगी ने अपने संबोधन में यह भी कहा कि उनकी सरकार “बच्चों को संस्कार, राष्ट्रप्रेम और वैज्ञानिक सोच” के साथ शिक्षा दे रही है, जबकि पहले की सरकारों ने “पढ़ाई का मजाक” बना दिया था।
विपक्ष ने जताई कड़ी आपत्ति
समाजवादी पार्टी ने सीएम योगी के बयान पर कड़ी प्रतिक्रिया दी है। सपा के राष्ट्रीय प्रवक्ता राजेंद्र चौधरी ने कहा:
“मुख्यमंत्री पद पर बैठे व्यक्ति को ऐसी घटिया और अपमानजनक भाषा शोभा नहीं देती। उन्होंने करोड़ों उत्तर भारतीयों और विद्यार्थियों का अपमान किया है।”
सपा अध्यक्ष अखिलेश यादव ने भी एक ट्वीट के जरिए हमला बोला और लिखा:
“जो खुद पढ़ाई छोड़कर राजनीति में आए हों, उन्हें शिक्षा के बारे में बोलने से पहले आईना देखना चाहिए।”
बीजेपी का बचाव
बीजेपी नेताओं और समर्थकों ने सीएम योगी के बयान का बचाव करते हुए कहा कि यह “रचनात्मक आलोचना” है और सपा की सरकार की नीतियों पर एक कटाक्ष है, जो “हास्यास्पद और हानिकारक” थीं।
प्रदेश बीजेपी प्रवक्ता हरिशंकर द्विवेदी ने कहा:
“सीएम योगी ने सपा की शिक्षा नीति की असलियत उजागर की है। सपा ने कभी बच्चों के भविष्य को गंभीरता से नहीं लिया, सिर्फ जातिवाद और तुष्टिकरण की राजनीति की।”
जनता की मिली-जुली प्रतिक्रिया
सीएम योगी का बयान सोशल मीडिया पर वायरल हो गया है। जहां कुछ लोग इसे “सीधे और स्पष्ट बोलने की शैली” कह रहे हैं, वहीं कई लोग मुख्यमंत्री से संयम की अपेक्षा कर रहे हैं।
एक फेसबुक यूजर ने लिखा:
“योगी जी सही कह रहे हैं, सपा की शिक्षा नीति ने बच्चों का भविष्य बिगाड़ा।”
वहीं एक अन्य यूजर ने कहा:
“एक मुख्यमंत्री को इस तरह के शब्दों से बचना चाहिए, यह पद की गरिमा के अनुरूप नहीं है।”
विश्लेषकों की राय
राजनीतिक विश्लेषक प्रो. अरुण त्रिपाठी का कहना है:
“सीएम योगी के इस बयान को विधानसभा चुनावों की तैयारी के तौर पर देखा जा सकता है। वो अपने को राष्ट्रवादी, कर्मठ और विपक्ष को निकम्मा साबित करने की रणनीति पर काम कर रहे हैं।”
निष्कर्ष
सीएम योगी का “ग से गधा” वाला बयान एक बार फिर यह दर्शाता है कि उत्तर प्रदेश की राजनीति में भाषा और बयानों का स्तर कितना तीखा और व्यंग्यात्मक होता जा रहा है। यह बयान सिर्फ एक शब्द नहीं, बल्कि आगामी चुनावों के लिए एक रणनीतिक बयान माना जा रहा है, जिसका असर आने वाले दिनों में देखने को मिलेगा। अब देखना यह है कि सपा इस बयान का क्या जवाब देती है और यह जुबानी जंग किस दिशा में जाती है।
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