पूजा पाल का खुला आरोप: सपा कर रही मेरे पति के हत्यारों का बचाव !

सपा से निष्कासित की गईं विधायक पूजा पाल ने अखिलेश यादव को पत्र लिखा है। पूजा पाल ने कहा है कि सपा ने मेरे पति के हत्यारों का आवाज बुलंद की।

उत्तर प्रदेश की राजनीति में एक बार फिर पुराने जख्म ताज़ा हो गए हैं। कांग्रेस विधायक पूजा पाल ने समाजवादी पार्टी (सपा) और उसके अध्यक्ष अखिलेश यादव पर गंभीर आरोप लगाए हैं। उन्होंने अखिलेश यादव को एक पत्र लिखते हुए कहा है कि समाजवादी पार्टी उनके दिवंगत पति की हत्या के आरोपियों की आवाज बुलंद कर रही है और उन्हें राजनीतिक संरक्षण दे रही है। यह आरोप सामने आने के बाद प्रदेश का सियासी माहौल गरमा गया है।

पूजा पाल का खुला आरोप: सपा कर रही मेरे पति के हत्यारों का बचाव !
पूजा पाल का खुला आरोप: सपा कर रही मेरे पति के हत्यारों का बचाव !

पति की हत्या का मामला

बता दें कि पूजा पाल के पति और पूर्व विधायक राजू पाल की 2005 में प्रयागराज में हत्या कर दी गई थी। उस समय यह घटना प्रदेश की सबसे चर्चित राजनीतिक हत्याओं में गिनी गई थी। इस हत्या में माफिया से जुड़े कई नाम सामने आए थे। लंबे समय तक चले कानूनी संघर्ष के बाद भी यह मामला पूरी तरह शांत नहीं हो पाया है। अब पूजा पाल का आरोप है कि सपा उन्हीं अपराधियों को बढ़ावा दे रही है, जिन्होंने उनके पति की जान ली थी।

अखिलेश यादव को लिखा पत्र

पूजा पाल ने अपने पत्र में लिखा है कि उन्हें यह देखकर गहरा दुख और आक्रोश हो रहा है कि सपा के मंच से उन लोगों की पैरवी की जा रही है, जो उनके पति की हत्या में आरोपी रहे हैं। उन्होंने कहा कि यह केवल उनके परिवार पर प्रहार नहीं है, बल्कि न्याय व्यवस्था और लोकतंत्र की नींव पर भी चोट है। विधायक ने आरोप लगाया कि सपा अपराधियों को मंच देकर उनके मनोबल को बढ़ा रही है और पीड़ित परिवार को बार-बार मानसिक यातना मिल रही है।

‘सपा अपराधियों की आवाज क्यों?’

पत्र में पूजा पाल ने सवाल उठाया कि आखिर समाजवादी पार्टी अपराधियों की आवाज क्यों बन रही है? उन्होंने कहा कि राजनीति में विरोध और आलोचना होना स्वाभाविक है, लेकिन यदि कोई दल खुले तौर पर हत्यारों और अपराधियों का पक्ष लेता है तो यह लोकतंत्र के लिए बेहद खतरनाक संकेत है। उन्होंने अखिलेश यादव से यह भी पूछा कि क्या उनकी पार्टी का मकसद पीड़ित परिवारों को न्याय दिलाना है या अपराधियों को राजनीतिक संरक्षण देना।

राजनीतिक हलचल

पूजा पाल के इन आरोपों से प्रदेश का राजनीतिक तापमान बढ़ गया है। भाजपा ने तुरंत इस मुद्दे को लपकते हुए सपा पर निशाना साधा। भाजपा नेताओं का कहना है कि पूजा पाल के बयान से यह साफ हो गया है कि सपा अपराधियों को संरक्षण देती रही है। वहीं, कांग्रेस खेमे ने भी विधायक का समर्थन करते हुए कहा कि वह न्याय की लड़ाई लड़ रही हैं और उनके सवाल पूरी तरह जायज हैं।

सपा की प्रतिक्रिया

हालांकि, समाजवादी पार्टी ने इन आरोपों को पूरी तरह नकार दिया है। पार्टी प्रवक्ताओं का कहना है कि सपा हमेशा लोकतंत्र और न्याय की पक्षधर रही है और उसने कभी भी अपराधियों का साथ नहीं दिया। उनका कहना है कि पूजा पाल का आरोप राजनीति से प्रेरित है और इसका मकसद सपा की छवि को धूमिल करना है।

न्याय की लड़ाई जारी

पूजा पाल ने स्पष्ट किया कि वह न्याय के लिए अपनी लड़ाई जारी रखेंगी। उन्होंने कहा कि चाहे कितनी भी बाधाएं आएं, लेकिन वह अपने पति की हत्या के दोषियों को सजा दिलाकर ही दम लेंगी। उन्होंने जनता से भी अपील की कि वे राजनीति और अपराध के गठजोड़ को पहचानें और ऐसे लोगों को सबक सिखाएं, जो अपराधियों की पैरवी करते हैं।

निष्कर्ष

पूजा पाल के इस पत्र ने एक बार फिर से प्रदेश की राजनीति में अपराध और राजनीति के गठजोड़ के पुराने सवालों को सामने ला दिया है। यह मामला केवल एक परिवार के दर्द और संघर्ष का प्रतीक नहीं, बल्कि इस बात की भी गवाही है कि राजनीति और अपराध के रिश्ते किस तरह लोकतंत्र को चुनौती दे सकते हैं। आने वाले दिनों में यह देखना दिलचस्प होगा कि इस विवाद का असर प्रदेश की सियासत पर किस तरह पड़ता है और क्या वाकई न्याय की लड़ाई अपने अंजाम तक पहुंच पाती है।

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